International Research journal of Management Science and Technology

  ISSN 2250 - 1959 (online) ISSN 2348 - 9367 (Print) New DOI : 10.32804/IRJMST

Impact Factor* - 6.2311


**Need Help in Content editing, Data Analysis.

Research Gateway

Adv For Editing Content

   No of Download : 2163    Submit Your Rating     Cite This   Download        Certificate

एक नवप्रवर्तक के रुप में महिला उद्यमी की भूमिका

    2 Author(s):  PRIYANKA CHHAPERA, DR. RAJKUMAR GODHA

Vol -  8, Issue- 6 ,         Page(s) : 350 - 354  (2017 ) DOI : https://doi.org/10.32804/IRJMST

Abstract

प्रस्तावना: उद्यमिता की अवधारणा लिंग के आधार पर पुरुष तथा महिला में किसी प्रकार का भेद नहीं करती है तथा महिला उद्यमी भी उद्यमशील क्रियाओं की पहल के द्वारा अपने जेण्डर को सुधार सकती है। सृष्टि के प्रारम्भ से ही महिलाएँ मानव पूँजी के निर्माण में प्रमुख योगदानकर्ता रही है। लम्बे समय तक वह घरेलू क्रियाओं से ही सम्बद्ध रही है, लेकिन परिवर्तन एवं विकास की प्रक्रिया के साथ उसने उद्यम की स्थापना के कार्य में योगदान देना प्रारम्भ किया है। वास्तव में, उद्यमिता ने महिलाओं के लिए पेशे के रुप में एक ऐसा नया क्षेत्र विकसित किया है जिसमें वे स्वतन्त्रता एवं निजी समर्थन के साथ अपने लक्ष्यों को बेहतर रुप में प्राप्त कर सकती है। प्रस्तुत शोध लेख में महिला उद्यमियों का एक अन्वेषणात्मक अध्ययन किया गया है, जिसमें महिला उद्यमियों की एक नवप्रवर्तक के रुप में भूमिका को विशेष महत्व दिया गया है।

  1. ”उद्यमिता के आधारभूत तत्व“ डाॅ. आर. एल. नौलखा (आर.बी.डी. पब्लिशिंग हाउस, जयपुर)
  2. “उद्यमिता के मूलाधार” डाॅ.पी.सी. जैन तथा डाॅ. एन. एल. शर्मा, (रमेश बुक डिपो, जयपुर, नई दिल्ली)
  3. “उद्यमिता के मूल आधार” डाॅ. प्रवीण अग्रवाल तथा डाॅ. अवनीश कुमार मिश्रा, साहित्य भवन  पब्लिकेशन्सः आगरा
  4. “रिसर्च मैथडाॅलाॅजी” वीरेन्द्र प्रकाश शर्मा, पंचशील प्रकाशन, जयपुर  
  5. Entrepreneurship - In the Third World Zafar Altaf
  6. Entrepreneurship - Nitin Johri
  7. Entrepreneurship - Vasant Desai
  8. Entrepreneurship - The Social Science view - Richard Swedberg

*Contents are provided by Authors of articles. Please contact us if you having any query.






Bank Details